रक्षाबंधन कब किस दिन है 2024, मनाने का तरीका, महत्व, पौराणिक कथा कहानी, घर पर राखी बनाने का तरीका, गिफ्ट आईडिया, इतिहास, शुभ मुहूर्त, निबंध
हमारे भारत में अनेक से त्योहार मनाए जाते हैं । “राखी का त्यौहार” जो हिंदुओं का प्रमुख त्योहार है उन्हीं में से एक है । जिसे पूरे भारत में बहुत ही खुशी के साथ मनाया जाता है ।
यह त्यौहार भाई और बहन के रिश्ते का प्रतीक है। इस त्योहार में बहन अपने भाई की कलाई पर राखी बांधती हैं, और साथ ही उनकी लंबी उम्र की कामना करती है । और भाई अपनी बहन की रक्षा करने का वचन देता है।
इसी के साथ भाई अपनी बहन को तोहफा देता है। यह त्यौहार भाई- बहन के रिश्ते को और अधिक मजबूत बना देता है, और प्रेम से भर देता है। आइए आपको इससे जुड़े बहुत सारे सवालों के जवाब देते हैं जैसे, रक्षाबंधन कब है, यह पर्व क्यों मनाते हैं, इससे जुड़ी मान्यता क्या है, ऑनलाइन रक्षाबंधन कैसे मनाएं आदि।
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रक्षाबंधन कब और क्यूँ मनाया जाता हैं?
राखी का त्यौहार श्रावण मास की शुक्ल पूर्णिमा को मनाया जाता है । ज्यादातर यह अगस्त के महीने में आता है, और इसी महीने में शिव जी की पूजा अर्चना भी की जाती है, इसीलिए यह महीना बहुत ही शुभ माना जाता है। राखी एक भाई का अपनी बहन के प्रति कर्तव्य को जाहिर करने का त्यौहार है । इसे सिर्फ सगे भाई बहन ही नहीं, कोई भी जो इस मर्यादित रिश्ते को समझता है इस त्यौहार को मना सकते हैं।
रक्षाबंधन का क्या महत्व है?
भाई बहन के बंधन के इस त्यौहार का बहुत महत्व है, क्योंकि यह भाई और बहन का पर्व है। आजकल के नए जमाने में लोग अपनी सभ्यता एवं संस्कृति को भूलते जा रहे हैं । लेकिन ये यह त्यौहार है, जो भाई-बहन के प्यार को बनाए रखते हैं, और हमारी संस्कृति की गरिमा को बढ़ाते हैं। इसीलिए हमें चाहिए कि हम यह त्यौहार बड़ी ही धूमधाम और प्रेम पूर्वक मनाये।
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रक्षाबंधन कब किस दिन है, शुभ मुहूर्त 2024? (When is Raksha Bandhan in 2024)
साल 2024 में रक्षाबंधन का त्यौहार 19 अगस्त को मनाया जाएगा।
रक्षाबंधन के लिए शुभ मुहूर्त | 19 अगस्त को (18 अगस्त को देर रात) 03 बजकर 04 मिनट पर शुरू होगी और 19 अगस्त को ही देर रात 11 बजकर 55 मिनट |
भद्र काल में राखी क्यूँ नहीं बांधी जाती ?
भद्र काल में राखी बांधना अशुभ होता है, क्योंकि भद्रा में कोई शुभ काम नहीं करना चाहिए। पौराणिक मान्यता के अनुसार जब लंकापति रावण ने भद्र काल में राखी बंधवाई थी। तब 1 साल में ही रावण का विनाश हो गया था, और वह मर गया था। इसलिए बहन अपने भाई की कलाई पर भद्र काल में राखी ना बांधे।
रक्षाबंधन कैसे मनाया जाता है? (How to Celebrate Raksha Bandhan)
रक्षाबंधन का त्यौहार बहुत ही खुशी और धूमधाम के साथ मनाया जाता है । इस दिन के लिए बहनें बहुत सी तैयारी करती हैं, खास तौर पर अपने भाई के लिए, आइए आपको बताते हैं रक्षाबंधन कैसे मनाना चाहिए।
- सबसे पहले सवेरे उठकर स्नान करना चाहिए इसके बाद भाई के लिए उसके मनपसंद पकवान बनाएं।
- पूजा की थाली सजाएं, थाली में राखी के साथ कुमकुम, रोली, हल्दी, चावल, दीपक, अगरबत्ती, मिठाई, इत्यादि रखें।
- फिर अपने भाई को एक जगह आसन पर बिठाएं ।
- फिर भाई के माथे पर कुमकुम का टीका और चावल लगाए ।
- इसके पश्चात आरती उतारी जाती है, फिर भाई की दाहिनी कलाई पर राखी बांधी जाती है।
- राखी बांधने के बाद भाई को भोजन करवाएं।
- इसके बाद भाई अपनी बहन को कुछ तोहफा, उपहार, या पैसे इत्यादि दे।
राखी (रक्षाबंधन) का इतिहास (Raksha Bandhan History in hindi)
रक्षाबंधन का त्योहार पूरे भारत में बहुत ही हर्ष के साथ मनाया जाता है । सभी त्योहारों की तरह रक्षाबंधन का भी एक इतिहास है ।
आइए आपको इसके इतिहास से जुड़ी एक कथा बताते है।
एक बार इंद्र, देव और दानव के बीच युद्ध हो रहा था। यह युद्ध 12 वर्षों तक चलता रहा। असुरों ने सभी देवताओं को हरा दिया और इंद्र को भी हरा दिया।
जिसके बाद इंद्र और सभी देवता अमरावती चले गए थे। तब असुरों ने सारा राज्य अपने अधीन कर लिया था। जिसके पश्चात इंद्र ने भगवान विष्णु से प्रार्थना की, और कहा मैं अब कहां जाऊं। क्योंकि असुर ने मेरे राज्य पर राज कर लिया, आप ही कुछ इसका हल निकालिए।
तब भगवान विष्णु ने इंद्राणी को एक रेशम का धागा दिया और कहा श्रावण मास की पूर्णिमा को इस धागे को इंद्र की कलाई पर बांध देना। जिससे वह स्वयं की रक्षा कर सकेंगे, और अपना राज्य वापस पा सकेंगे। इसी दिन से रक्षाबंधन का त्यौहार मनाया जाने लगा।
राखी (रक्षाबंधन) से जुड़ी पौराणिक कथाएं (Raksha Bandhan Story in hindi)
रक्षाबंधन से बहुत सी पौराणिक कथाएं जुड़ी हुई है, हम आपको कुछ कथाओं के बारे में बताने जा रहे हैं।
श्री कृष्ण और द्रौपदी की कथा
रक्षाबंधन को मनाने का एक धार्मिक उल्लेख महाभारत में मिलता है। इस कथा के मुताबिक एक बार जब युधिष्ठिर यज्ञ कर रहे थे, तब शिशुपाल द्वारा भगवान श्री कृष्ण का घोर अपमान किया गया। तब श्री कृष्ण ने शिशुपाल को सबक सिखाने के लिए उसका वध सुदर्शन चक्र से करने का निश्चय किया।
जब भगवान श्री कृष्ण ने अपना सुदर्शन चक्र शिशुपाल पर चलाया। तब गलती से भगवान श्री कृष्ण की उंगली उन्हीं के सुदर्शन चक्र में फ़स गई, और चोट लग गई। चोट लगने के कारण खून निकलने लगा। जिसे द्रौपदी ने देखा, द्रौपदी दौड़ी-दौड़ी श्री कृष्ण के पास पहुंची, और अपनी साड़ी का एक टुकड़ा श्री कृष्ण की उंगली में बांध दिया।
द्रौपदी के ऐसा करने से भगवान बहुत खुश हुए और इसके बाद उन्होंने हमेशा के लिए द्रौपदी की रक्षा का वचन दिया। फिर इसके बाद जब कौरवों द्वारा भरी सभा में द्रौपदी का चीर हरण किया जा रहा था। तब श्री कृष्ण ने राखी की लाज रखी और भाई का फर्ज निभाते हुए अपनी बहन द्रौपदी की रक्षा करी।
जब द्रौपदी ने भगवान श्रीकृष्ण की कलाई पर साड़ी का पल्लू बांधा था। उस दिन श्रावण मास की शुक्ल पूर्णिमा थी, तभी से भाई-बहन के इस पर्व को त्योहार के रूप में मनाया जाने लगा।
यम और यमुना की कहानी
एक कथा के अनुसार मृत्यु के देवता यम करीब 12 वर्ष तक अपनी बहन यमुना के पास नहीं गए। इस पर यमुना को काफी दुख हुआ। इसके बाद गंगा माता के परामर्श पर यम जी ने अपनी बहन के पास जाने का निश्चय किया। जब यमुना जी को पता लगा कि, उनका भाई उनसे मिलने के लिए आ रहा है, तब वह बहुत ही प्रसन्न हो गई।
इसके पश्चात जब यम अपनी बहन के पास पहुंचे तब यमुना जी ने उनका बहुत ही ख्याल रखा। इस पर वह बहुत प्रसन्न हो गए और यमुना जी से कहा कि बहन तुम्हें क्या चाहिए। जिस पर यमुना जी ने कहा मुझे आपसे बार-बार मिलना है, इसीलिए यम ने बहन की इच्छा पूरा करते हुए कहा कि हम आज ही के दिन बार-बार मिलेंगे और उस दिन श्रावण मास की पूर्णिमा थी, इसीलिए यह कहानी भी रक्षाबंधन के लिए प्रचलित है।
घर पर राखी कैसे बनाएं? (How to make Rakhi at home)
आजकल बाजार में महंगाई बढ़ती ही जा रही है। कई बार बाजार में राखियाँ लेने जाओ तो अत्यधिक महंगी मिलती है। आज हम आपको राखी घर पर ही सिंपल मोती धागे से बताना बताते हैं । अपने हाथों से राखी बनाकर बांधने से भाई बहनों में प्यार बढ़ता है। उस राखी को पैसों से न तोल कर उसके पीछे की भावनाओं को देखा जाता है। आइए आपको कुछ आसान सा तरीका बताते हैं राखी बनाने का:-
राखी बनाने के लिए जरुरी सामग्री;-
- रंग बिरंगे रेशम के धागे।
- राखी को सजाने के लिए रंग-बिरंगे छोटे बड़े मोती।
- रंग बिरंगे कागज सजाने के लिए।
- कोई भी रंग का स्पंज।
- फेविकोल।
सिंपल राखी बनाने का तरीका;-
- सबसे पहले रंग-बिरंगे रेशम के तीन धागे ले उसको चोटी की तरह गूंथ लें।
- अब रेशम के धागे पर दोनों तरफ छोटे या बड़े मोती लगा दे, बीच में थोड़ी सी जगह छोड़ दें।
- जो जगह बीच में छोड़ी है, उस पर अपनी मनपसंद आकार का स्पंज काटकर चिपका दें।
- उसके बाद स्पंज पर रंग बिरंगे कागज को काटकर चिपकाए।
- उसके बाद आप इस पर अपने मनपसंद की सजावट कर सकते हैं ।
- मोतियों से कोई कार्टून लगा कर, या गणेश जी की प्रतिमा लगाकर, इत्यादि तरीके से।
- इसके बाद जो आपने दोनों तरफ मोती लगाए हैं, उन्हें स्पंज के पास बीचो-बीच ले आए।
- अब आप की राखी बांधने के लिए तैयार हो चुकी है।
रक्षाबंधन पर क्या गिफ्ट दें (Raksha Bandhan Gift Ideas)
राखी में भाई बहन दोनों ही एक दूसरे को उपहार देते हैं, ऐसे में सभी सोचने में मजबूर हो जाते हैं कि क्या गिफ्ट दिया जाये। भाई अपनी बहन को ऐसा क्या गिफ्ट दे सकते हैं, जो उनकी बहन को पसंद भी आए और उन्हें स्पेशल महसूस करवा सकें। आपको इसके बारे में कुछ जानकारी देते हैं।
फोटो या वीडियो कोलाज
आपकी और आपकी बहन के बीच बहुत सी यादें ऐसी होंगी, जिन्हें आप संजोकर रखना चाहेंगे। आप अपनी बहन के लिए फोटो या वीडियो का कोलाज तैयार कर सकते हैं, यह तोहफा आप अपनी बहन को देकर उसे खास महसूस करवा सकते हैं ।
ब्यूटी केयर प्रोडक्ट
आप अपनी बहन के लिए ब्यूटी केयर प्रोडक्ट्स चुनकर, एक छोटी सी किट तैयार कर सकते हैं। यह आपकी बहन को बहुत ही खास महसूस करवा सकता है।
होम डेकोर
अगर आपकी बहन को घर को सजाना बहुत ही पसंद है, तो आप ऐसी कोई चीज दे सकते हैं। जो घर में सजाने के लिए खास हो। जैसे कि कोई आकर्षक तस्वीर, दीवार घड़ी में बहन की फोटो लगाकर और भी कई अन्य प्रकार के उपहार दे सकते हैं।
ऑनलाइन रक्षाबंधन का त्योहार कैसे मनाए (How to Celebrate Raksha Bandhan online in Lockdown)
लोक डाउन के चलते कोई भी त्यौहार हम अच्छे से नहीं मना, पा रहे हैं इसीलिए एक ही शहर में रहते हुए भी भाई बहन नहीं मिल पाते हैं। आप ऑनलाइन रक्षाबंधन का त्यौहार भी मना सकते हैं। आइए बताते हैं कैसे-
डिजिटल राखी
डिजिटल राखी यानी ई- राखी, ई- राखी वह रखी होती है, जो दूरियों को खत्म कर देती है। कोई भी आसानी से अपने भाई को राखी भेज सकता है। इंटरनेट के जरिए बहनें अपने भाइयों के लिए राखी भेज सकती हैं, क्योंकि आजकल बहुत से ऑनलाइन राखी स्टोर इंटरनेट पर उपलब्ध है। जहां पर आप अपनी पसंद की राखी चुन सकते हैं, और भाई को भेज सकते हैं।
इंटरनेट पर आपको पूजा की थाली भी आसानी से मिल जाएगी। जिसमें अक्षत, कुमकुम इत्यादि सभी समान रूप से सजाए जाते हैं। इसे आप आराम से अपने भाई तक पहुंचा सकते हैं। इसीलिए राखी भेजना आप को लाइव महसूस करवाएगा। नेट के जरिए आप यह त्यौहार बहुत ही आसानी से मना सकते हैं, और इससे आपको दूरी भी महसूस नहीं होगी।
अगर भाई को भी अपनी बहन के लिए कोई तोहफा भेजना है। और उसे खास महसूस करवाना है, तो घर बैठे ऑनलाइन खरीदारी कर सकते हैं। उसके, पसंदीदा तोहफा उसके लिए भिजवा सकते हैं जिससे वह भी खुश हो जाएगी।
इस तरह से आप रक्षाबंधन का त्योहार बहुत ही धूमधाम से मना सकते हैं। दूरी को खत्म करते हुए बहन अपने भाई को भी खास महसूस करा सकती है। अगर आपको इस लेख से संबंधित कोई भी प्रश्न पूछना है, तो आप कमेंट बॉक्स में कमेंट कर सकते हैं।
FAQ
रक्षाबंधन भाई बहन के बीच के प्रेम का त्यौहार है।
रक्षाबंधन की शुरुआत लगभग 6000 साल पहले होने का अनुमान लगाया जाता है।
रक्षाबंधन श्रावण मास की पूर्णिमा को मनाया जाता है।
राखी, सलूनो, श्रावणी।
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